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1 Aug 2025, Fri

अमेरिका से भारत लाया गया कुख्यात अपराधी अंगद सिंह चंदौक

नई दिल्ली, एजेंसी। केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) ने अमेरिका से कुख्यात साइबर अपराधी अंगद सिंह चंदौक को प्रत्यर्पित कर एक बड़ी सफलता हासिल की है। चंदौक पर अमेरिकी नागरिकों से करोड़ों रुपये की ऑनलाइन तकनीकी सहायता धोखाधड़ी के साथ ही मनी लॉन्ड्रिंग करने का आरोप है। चंदौक ने शेल कंपनियां बनाईं और उनका इस्तेमाल अमेरिकियों से ऑनलाइन टेक सपोर्ट के माध्यम से चोरी किए गए लाखों डॉलर को ट्रांसफर करने के लिए किया। कुख्यात साइबर अपराधी अंगद सिंह चंदौक को अमेरिकी अदालत में दोषी ठहराया गया था। चंदौक ने अमेरिकी नागरिकों से ऑनलाइन टेक सपोर्ट योजना के माध्यम से लाखों डॉलर की चोरी की थी। इस पैसे को शेल कंपनियों के माध्यम से भारत और अन्य देशों में ट्रांसफर किया था।
अमेरिका में सुनाई गई थी 6 साल की सजा
सीबीआई ने चंदौक को अमेरिका से प्रत्यर्पित करने के लिए एक लंबी कानूनी लड़ाई लड़ी थी। अब भारत में अदालत में पेश किया जाएगा और कस्टडी की मांग की जाएगी। अमेरिकी अदालत ने उन्हें 2022 में छह साल की जेल की सजा सुनाई थी। सीबीआई ने अमेरिकी अधिकारियों के साथ मिलकर यह ऑपरेशन अंजाम दिया, जिससे चांडोक भारत वापस लाया जा सका और भारत में चल रहे धोखाधड़ी के मामलों में उससे पूछताछ की जा सके।
मनी लॉन्ड्रिंग नेटवर्क को ऑपरेट करता था चंदौक
चंदौक पर अमेरिकी नागरिकों को निशाना बनाकर करोड़ों डॉलर के तकनीकी सहायता घोटाले का मास्टरमाइंड होने का आरोप है। इसके साथ ही वह भारत में भी साइबर फ्रॉड में मामले में वांछित था, जिसने अमेरिका जाकर शरण ले ली थी। हालांकि यहां भी उसने कई फ्रॉड को अंजाम दिया। खासकर वो यहां बुजुर्गों को अपना निशाना बनाता था। इस दौरान वो उनके पूरे जीवन की कमाई को हड़प लिया करता था।
जांच में सामने आया था कि चंदौक कैलिफोर्निया में कथित तौर पर लंबे समय तक एक नेटवर्क को ऑपरेट करता था। जो दुनियाभर में मनी लॉन्ड्रिंग के काम को अंजाम देता था। इसके साथ ही ऑनलाइन फ्रॉड के जरिए उसने कई लोगों को लाखों डॉलर का चूना भी लगाया है।

By Aryavartkranti Bureau

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