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23 Jun 2025, Mon

पत्रलेखा ने ‘लव गेम्स’ में बोल्ड सीन को लेकर बताया खतरनाक सच, बोलीं- दोबारा कभी नहीं करूंगी

एक्ट्रेस पत्रलेखा ने अपने सिनेमाई करियर की शुरुआत ‘सिटीलाइट्स’ फिल्म से की थी, जिसमें उनके साथ राजकुमार राव मुख्य भूमिका में थे। इसके बाद अभिनेत्री ने साल 2016 में विक्रम भट्ट के निर्देशन में बनी फिल्म ‘लव गेम्स’ में काम किया, जिसमें उन्होंने बोल्ड सीन किए थे। अब पत्रलेखा ने फिल्म में बोल्ड सीन करने को लेकर एक खुलासा किया है। साथ ही कहा कि वह अब बदल गई हैं।

बोल्ड सीन करने के पीछे की बताई वजह
हाल ही में अभिनेत्री पत्रलेखा बॉलीवुड बबल के साथ एक इंटरव्यू में शामिल हुईं। इस दौरान एक्ट्रेस से सवाल किया गया कि क्या वह फिर से ‘लव गेम्स’ फिल्म जैसी बोल्ड भूमिका निभाएंगी। इसके जवाब में अभिनेत्री ने कहा, नहीं, मैं इसे फिर से नहीं करूंगी। 10 साल पहले की पत्रलेखा एक बहुत अलग, बहुत छोटी लड़की थी। उसके लिए काम करते रहना बहुत जरूरी था। शायद वह चिंता से जूझ रही थी, उसे सिर्फ काम चाहिए था। मुझे तब इस बात का एहसास नहीं था, लेकिन मैंने वो बोल्ड सीन शायद हताश होकर या डिप्रेशन में किया था।’
इस फैसले के लिए वह खुद को दोषी मानती हैं
आगे बातचीत में अभिनेत्री ने कहा, ‘अब वर्तमान में जो पत्रलेखा है वह ऐसा नहीं कर सकती। मैं एक बात और स्पष्ट कर दूं कि फिल्म में कुछ भी गलत नहीं है। उन्होंने वही बनाया जो स्क्रिप्ट में लिखा था, लेकिन क्या मैं इसके साथ न्याय कर सकती थी? नहीं। क्या मैं उस फिल्म के लिए सही व्यक्ति थी? नहीं। यह मुझ पर निर्भर था। मुझे इसके बारे में सोचना चाहिए था और डर के कारण ऐसा नहीं करना चाहिए था क्योंकि सच्चाई यह है कि मेरे पास काम नहीं था। इसलिए मैं ईमानदारी से उस फैसले के लिए खुद को दोषी मानती हूं।’
पत्रलेखा का वर्कफ्रंट
अभिनेत्रा पत्रलेखा के वर्कफ्रंट की बात करें तो वह हाल ही में ‘फुले’ फिल्म में नजर आई थीं। यह फिल्म समाज सुधारक ज्योतिराव और सावित्रीबाई फुले के जीवन पर आधारित है। इससे पहले वो अनुभव सिन्हा की वेब सीरीज ‘आईसी 814 कंधार हाईजैक’ में एयरहोस्टेस के किरदार में दिखाई दी थीं। पत्रलेखा ने अपने करियर में कई चुनौतीपूर्ण किरदार निभाए हैं।

By Prabhat Pandey

प्रभात पांडेय आर्यावर्तक्रांति दैनिक हिंदी समाचार और दिशा एजुकेशनल एंड वेलफेयर सोसाइटी के संस्थापक हैं। निष्पक्ष पत्रकारिता, सामाजिक सेवा, शिक्षा और कल्याण के माध्यम से सामाजिक बदलाव लाने वाले प्रभात पांडेय प्रेरणा और सकारात्मकता के प्रतीक हैं।