मुंबई, एजेंसी। महाराष्ट्र में मराठी बनाम हिंदी को लेकर चल रहा भाषा विवाद अब राजनीतिक तूल पकड़ता जा रहा है। इस मुद्दे पर महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) और भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) आमने-सामने आ गई हैं। MNS नेता संदीप देशपांडे ने बीजेपी के मंत्री नितेश राणे के हालिया बयान पर पलटवार करते हुए कहा कि “नितेश राणे को समझना चाहिए कि हम हिन्दू है हिंदी नहीं है।”
देशपांडे ने कहा, “भारत-पाकिस्तान मैच अहमदाबाद में किसने करवाया था? क्या कहेंगे इसके बारे में? जब हमने पाकिस्तान के कलाकारों का विरोध किया तो कौन इसके विरोध में गया? गलत और झूठी धारणाएं बनाई जा रही है। गरीब या अमीर हमें फर्क नहीं पड़ता बस मराठी हमारा मुद्दा है।”
उन्होंने कहा कि यह बैनर पोस्टर के बारे में हमें कोई जानकारी नहीं है हमारी पार्टी की लाइन यह नहीं है। हम बस मराठी माणूस के जीत का जश्न मनाने वाले हैं।’ उन्होंने यह भी बताया कि कल की रैली की तैयारी के लिए उद्धव ठाकरे गुट और मनसे की बैठक शाम को होगी। यह आयोजन शिवाजी पार्क में होना था, लेकिन बारिश के चलते इसे डोम में करना पड़ रहा है। मनसे नेता देशपांडे ने बीजेपी पर हमला बोलते हुए कहा कि “धर्म की राजनीति ही इनकी पहचान बन गई है। जब मराठी लोगों को पीटा जाता है, तब बीजेपी के नेता चुप क्यों रहते हैं? अगर कोई मराठी के खिलाफ जाएगा तो कान के नीचे मार खाएगा।’
ये था मंत्री नितेश राणे का बयान
इससे पहले बीजेपी नेता और मंत्री नितेश राणे ने विवादित बयान देते हुए कहा था, “गरीब हिंदुओं पर हाथ उठाने वालों को नल बाजार और मोहम्मद अली रोड जाकर जिहादियों को पीटने की हिम्मत भी दिखानी चाहिए। क्या जावेद अख्तर, आमिर खान जैसे लोग मराठी बोलते हैं? ये लोग हमेशा गरीब हिंदुओं पर सवाल उठाते हैं, पर मराठी बोलने या मराठी संस्कृति से कोई लेना-देना नहीं रखते।”
दिशा सालियान मामले पर भी दी प्रतिक्रिया
प्रेस कॉन्फ्रेंस में नितेश राणे ने दिशा सालियान मौत के मामले को लेकर भी बयान दिया। उन्होंने कहा कि यह अच्छा है कि मामला कोर्ट में है, इससे सच्चाई सामने आएगी। राणे ने कहा कि अगर आदित्य ठाकरे का इस मामले से कोई लेना-देना नहीं है तो फिर जांच से डर क्यों लग रहा है? उन्होंने सवाल उठाया कि “क्या कोई खुद कहता है कि उसने हत्या की है? अगर दिशा को इंसाफ दिलाना है तो सच्चाई सामने आनी चाहिए।
पुणे दुष्कर्म केस पर भी बोले
पुणे में हाल ही में हुए दुष्कर्म मामले में राणे ने प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि जब सरकार का डर अपराधियों में नहीं रहेगा तो ऐसे ही जघन्य अपराध होते रहेंगे। अगर दिशा सालियान जैसे मामलों में समय पर कार्रवाई होती, तो शायद पुणे की ये शर्मनाक घटना न होती। कानून का डर होना जरूरी है।
भाषा विवाद में एमएनएस ने भाजपा पर किया पलटवार, कहा- ‘मराठी के खिलाफ जाएगा तो कान के नीचे..’
