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19 Apr 2025, Sat

रिसर्च के मुताबिक काली मिर्च का सेवन बूस्ट करेगा मेटाबॉलिज्म और थुलथुल शरीर भी हो जाएगा कसावदार

वजन कम करने की जद्दोजहद में लोग कई तरह की डाइट, सप्लिमेंट्स और एक्सरसाइज़ ट्राय करते हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं कि आपकी रसोई में रखी छोटी-सी काली मिर्च भी इस मिशन में बड़ा रोल निभा सकती है? एक रिसर्च (Ref) बताती है कि काली मिर्च न सिर्फ आपके मेटाबॉलिज्म को बढ़ाती है, बल्कि फैट बर्निंग प्रोसेस को भी तेज करती है।
काली मिर्च में पाए जाने वाले एक्टिव कंपाउंड्स जैसे पाइपरीन शरीर में फैट को टूटने में मदद करते हैं और नई फैट सेल्स बनने से भी रोकते हैं। यही वजह है कि अब हेल्थ एक्सपर्ट्स भी इसे डाइट में शामिल करने की सलाह देने लगे हैं, खासकर उन लोगों को जो वजन कम करना चाहते हैं या पेट की चर्बी से परेशान हैं।
इसके अलावा काली मिर्च का एंटीऑक्सीडेंट और एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण भी शरीर को स्वस्थ बनाए रखने में मदद करता है। तो आइए जानते हैं कि काली मिर्च को डाइट में कैसे शामिल करें और यह कैसे बना सकती है आपका थुलथुल शरीर, फिट और एक्टिव।
पाइपरीन: वो तत्व जो फैट से लड़ता है
NCBI (Ref) की रिपोर्ट के मुताबिक काली मिर्च में पाइपरीन नाम का तत्व पाया जाता है जो शरीर की फैट सेल्स को बनने से रोकता है। इससे न केवल वजन कम होता है बल्कि फैट का जमाव भी घटता है।
मेटाबॉलिज्म को करता है तेज
काली मिर्च शरीर के मेटाबॉलिक रेट को बढ़ाने में मदद करती है। जब मेटाबॉलिज्म अच्छा होता है तो शरीर अधिक कैलोरीज़ बर्न करता है, जिससे वजन घटाने में आसानी होती है।
डाइजेशन को करता है दुरुस्त
काली मिर्च पेट के एंजाइम्स को एक्टिवेट करती है जिससे खाना अच्छे से पचता है। जब खाना ठीक से पचेगा, तो फैट जमने की संभावना भी कम होगी।
भूख को करता है कंट्रोल
इसके सेवन से भूख पर काबू पाया जा सकता है। ये उन लोगों के लिए फायदेमंद है जो बार-बार कुछ न कुछ खाने की आदत से जूझ रहे हैं।
डाइट में कैसे करें शामिल
काली मिर्च को सलाद, ग्रीन टी, डिटॉक्स वॉटर या नींबू पानी में डालकर लिया जा सकता है। इसके अलावा इसे उबले अंडे या सब्ज़ियों पर छिड़क कर भी खाया जा सकता है।

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